राजस्थान में पेट्रोल पंप संचालक एक अक्टूबर से फिर हड़ताल पर जाने की तैयारी में हैं. राजस्थान पेट्रोलियम डीलर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष राजेंद्र सिंह भाटी ने कहा है कि सरकार ने पेट्रोल-डीजल पर बढ़ते वैट पर 10 दिन में समाधान निकालने को कहा था. 13 दिन बाद भी कोई समाधान नहीं। इससे परेशान होकर वे 1 अक्टूबर को सुबह 6:00 बजे से शाम 6:00 बजे तक सांकेतिक हड़ताल करेंगे. इसके बाद भी कार्रवाई नहीं हुई तो दो अक्तूबर को अनिश्चितकालीन हड़ताल पर जायेंगे.
दरअसल एसोसिएशन की ओर से वैट घटाने समेत अन्य मांगें की जा रही हैं. इसके लिए 13 और 14 सितंबर को दो दिवसीय सांकेतिक हड़ताल की गई, लेकिन सरकार की ओर से कोई प्रतिक्रिया नहीं मिलने पर 15 सितंबर से अनिश्चितकालीन हड़ताल का आह्वान किया गया। 15 सितंबर को सरकार से वार्ता के दौरान मिले आश्वासन के बाद ही हड़ताल स्थगित कर दी गयी थी.
राजेंद्र सिंह भाटी ने कहा- हमने 15 सितंबर को सचिवालय में राज्य सरकार के कैबिनेट मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास की अध्यक्षता में बैठक की थी. जिसमें पेट्रोल-डीजल पर वैट बढ़ाने समेत हमारी कई मांगों को 10 दिन के अंदर हल करने की बात कही गई थी. संवाद के 13 दिन बाद भी किसी समस्या का समाधान नहीं हुआ है. सरकार के रवैये से तंग आकर एसोसिएशन एक बार फिर हड़ताल पर जाने को मजबूर हुआ है.
भाटी ने कहा- डीलर गुरुवार से हर जिले में ज्ञापन दे रहे हैं। साथ ही अब रात 8 से 10 बजे के बीच पंप लाइटें भी नहीं बेची जा रही हैं. अगर राजस्थान सरकार ने बात नहीं मानी तो 1 अक्टूबर को सुबह 6 बजे से शाम 6 बजे तक सांकेतिक हड़ताल की जाएगी. इसके बाद भी ध्यान नहीं दिया गया तो डीलर दो अक्टूबर से अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले जायेंगे.
15 सितंबर को इन मांगों पर सहमति बनी थी
वैट के लिए एक अधिकार प्राप्त समिति का गठन किया जाएगा। जिसमें तीनों तेल कंपनियों के साथ राजस्थान पेट्रोलियम डीलर्स एसोसिएशन के तीन सदस्य और उनके प्रतिनिधि सभी तथ्य और ब्योरा देंगे. किसी भी स्थिति में 10 दिन से अधिक समय नहीं लगेगा.
पेट्रोल-डीजल पर वैट की दर अधिक होने के कारण 270 पंप बंद हो गये हैं.
एसोसिएशन के अध्यक्ष राजेंद्र सिंह भाटी ने कहा- जबकि सरकार 500 रुपए के गैस सिलेंडर के लिए केंद्र सरकार पर निर्भर नहीं है। तो फिर पेट्रोल-डीज़ल के लिए केंद्र सरकार पर निर्भर क्यों रहें? क्या पेट्रोल-डीजल आम आदमी के लिए जरूरी नहीं? पेट्रोल-डीजल की वैट दर के कारण फिलहाल 270 पेट्रोल पंप बंद हैं. प्रतिदिन 50 किलोलीटर से 100 किलोलीटर तक की बिक्री करने वाले 2000 पंप बंद होने की कगार पर हैं।
राजस्थान में सबसे महंगा पेट्रोल-डीजल
राजस्थान के श्रीगंगानगर में भारत में सबसे महंगा ईंधन बिक रहा है. यहां एक लीटर पेट्रोल की कीमत 113.30 रुपये प्रति लीटर और डीजल की कीमत 98.07 रुपये प्रति लीटर पर पहुंच गई है. वहीं, महाराष्ट्र के परभणी में पेट्रोल 109.26 रुपये प्रति लीटर और डीजल 95.66 रुपये प्रति लीटर बिक रहा है. पोर्ट ब्लेयर में बिक रहा सबसे सस्ता पेट्रोल-डीजल. यहां पेट्रोल की कीमत 84.10 रुपये प्रति लीटर और डीजल की कीमत 79.74 रुपये प्रति लीटर है.